बड़ी खबर : छत्तीसगढ़ में जमीन पट्टे से जुड़े सभी पुराने सर्कुलर रद्द, मंडी में बाहरी खरीदारों को मौका…जाने साय कैबिनेट के फैसले
हल्लाबोल 24.कॉम सबसे तेज न्यूज नेटवर्क
छत्तीसगढ़ में साय कैबिनेट ने शुक्रवार को कई अहम फैसले लिए हैं। बैठक में जमीन के पट्टे से जुड़े पुराने सभी सर्कुलर को सरकार ने रद्द कर दिया है। अब नए सर्कुलर जारी होंगे। इसके अलावा कृषि उपज मंडी अधिनियम में बाहर के खरीदारों को भी मौका दिया जाएगा जिससे प्रदेश के किसानों को अच्छा रेट मिले।
बिना पंजीयन खरीद सकेंगे कृषि पंजीयन
किसानों को उनकी उपज का अधिकतम मूल्य मिले इसके लिए छत्तीसगढ़ कृषि उपज मंडी अधिनियम में संशोधन किया जाएगा। अब देश के कारोबारी कृषि उपज की खरीदी-बिक्री बिना पंजीयन के कर सकेंगे। इससे छत्तीसगढ़ राज्य के किसानों और फसल बेचने वालों को अधिकतम मूल्य मिल पाएगा।पहले प्रदेश के बाहर के लोगों को यहां खरीदी करने में कई तरह की परेशानियां थीं, इसे सरल किया जाएगा। मंडी फीस का नाम बदलकर अब ‘‘मंडी फीस-कृषक कल्याण शुल्क किया जा रहा है। मंडी बोर्ड अपनी वार्षिक आय की 10 प्रतिशत राशि छत्तीसगढ़ राज्य कृषक कल्याण निधि में जमा करेगा। इसका इस्तेमाल किसानों के लिए होगा।
पट्टे से जुड़े पुराने सर्कुलर कैंसिल
छत्तीसगढ़ राज्य के नगरीय क्षेत्रों में शासकीय भूमि के आबंटन, अतिक्रमित भूमि के व्यवस्थापन और जमीन मालिक को कब्जा देने से जुड़े नियमों में बदलाव किया जाएगा, इससे जुड़े सभी सर्कुलर कैंसल करने के आदेश मंत्रिपरिषद की ओर से जारी कर पुराने सभी सर्कुलर को कैंसल किया गया है।राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने शहरी इलाकों में अतिक्रमण की हुई जमीन के व्यवस्थापन, सरकारी जमीन के आवंटन, जमीन पर लगने वाले भू-भाटक के निर्धारण और वसूली प्रक्रिया से जुड़ा 11 सितम्बर 2019 को परिपत्र जारी किया गया था इसे कैंसिल किया गया है।शहरी इलाके में जारी किए गए स्थायी पट्टों का भूमि-स्वामी हक प्रदान किए जाने से जुड़ा 26 अक्टूबर 2019 को जारी परिपत्र, नजूल के स्थायी पट्टों की भूमि को भूमि-स्वामी हक में बदली किए जाने के लिए 20 मई 2020 को जारी परिपत्र भी रद्द किया गया।इसके अलावा नगरीय क्षेत्रों में शासकीय भूमि के आवंटन, अतिक्रमित भूमि के व्यवस्थापन और भूमि स्वामी हक देने से जुड़े 24 फरवरी 2024 को जारी परिपत्र को भी कैंसिल किया गया है। अब नए सिरे से सर्कुलर जारी होंगे और लोगों को पट्टा देने का काम उन्हीं नए निर्देशों के मुताबिक होगा।मंत्रिपरिषद की बैठक में यह भी फैसला लिया गया कि इन सर्कुलर के तहत आवंटित भूमि की पूरी जानकारी राजस्व विभाग की वेबसाइट में अपलोड की जाएगी। इनसे जुड़ी कोई भी शिकायत और आपत्ति होने पर संभागीय आयुक्त इसकी सुनवाई करेंगे।